27 अक्टूबर 1986
सुमिला।
आपके नाम के साथ सेक्स गुरु और अमीरों के गुरु
आदि भ्रांतिपूर्ण विशेषण क्यों जुड़े हुये हैं?
भगवान् श्री ने उत्तर देते हुए कहा-
"हर्षिदा! यह बहुत बड़ी अंतर्राष्ट्रीय साज़िश है।
हिटलर का यह पुराना फार्मूला है कि झूठ
को यदि बार-बार दोहराया जाये तो वह सच मालूम
होने लगता है। अब मेरे प्रवचनों को लेकर अब तक
400(अब 650 से अधिक) सौ पुस्तकें प्रकाशित
हो चुकी हैं और उनमें से एक है 'संभोग से समाधि।'और
उन पुस्तक में छपे मेरे पाँच प्रवचनों का सार यही है
कि तुम सेक्स से कैसे मुक्त हो सकते हो?उसका कैसे
अतिक्रमण कर सकते हो? वह किताब सेक्स के बारे में
कुछ ऐसी जानकारी नहीं देती जो सेक्सुअल हो।
अश्लील हो। यदि ऐसा होता तो उस किताब पर
सरकार तुरन्त प्रतिबंध लगा देती। अब जिन धर्म गुरुओं
की मैं आलोचना करता था उन्होंने पुस्तक के नाम
को मेरे विरुद्ध हथियार की तरह इस्तेमाल करते हुये मुझे
संभोग से समाधि वाला बाबा कहकर प्रचारित
करना शुरू कर दिया। अब उनके भी अनुयायी तो हैं
ही। और वह अनुयायी बड़े-बड़े राजनेता और
पूंजीपति हैं। जो अखबारों के मालिक हैं।
सारी दुनियां में उन्होंनें मुझे सेक्स गुरु के नाम से
प्रचारित कर दिया।
अब यही बात मेरे धनियों का गुरु होने के संबंध में
भी है।मैंने बार-बार कहा है कि धन
की व्यर्थता का बोध होने पर अंतर्यात्रा प्रारम्भ
होती है और जिनके पास धन है,केवल उन्हीं को धन
की व्यर्थता दिखाई देती है। भूखे व्यक्ति को पहले
परमात्मा नहीं,रोटी चाहिये। भूखे व्यक्ति को ध्यान
सिखाने से लाभ क्या?मैं तो चाहता हूँ देश समृद्ध हो।
संसार समृद्ध हो। गरीबी जड़ मूल से समाप्त हो।
क्योंकि दुनिया में जितनी अधिक सम्रद्धि होगी,हम
अध्यात्म की प्यास उतनी ही अधिक बढ़ा सकते है।
अब यदि इसका यह अर्थ निकाला जाये कि मैं
धनपतियों का गुरु हूँ और उनके पास प्रचार के साधन
हों तो वह दुनिया भर में यह झूठ फैला देते हैं। और मैं
अकेला आदमी हूँ जो पूरी दुनिया से लड़ रहा हूँ।"
भगवान् श्री ने अंत में कहा-
"झूठ के पास चाहे जितनी ताकत हो पर के आगे
झूंठ नपुंसक है। झूंठ के पैर नहीं होते। मैं इनका खंडन
इसलिए नहीं करता क्योंकि झूंठ संतति नियमन के
सिद्धांत को नहीं मानता। मेरे उर्जावान सत्य के
प्रति जो साहसी युवक-युवतियों और सृजनशील
सम्रद्ध लोगों का जो प्रवाह आकर्षित हो रहा है,उसे
देखकर ये लोग इर्ष्या से भर गये हैं और उनके पास उन्हें
रोकने का कोई उपाय नहीं है।
मैं मानव कल्याण के अन्य श्रेष्ठतम कार्यों में व्यस्त हूँ।
मेरे प्रति प्रचारित असत्य अपनी मौत आप मरेंगे
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